Sri Rudram- 9|Namakam- 7|श्रीरुद्रम्- ९|अनुवाक- ७|हिंदी अर्थ सहित
वेदमंत्र एवम् अर्थ-14
🌾श्रीरुद्रम्-9🌾
🙏नमकम्🙏
अनुवाक- 7
नमो दुन्दुभ्याय चाहनन्याय च नमो धृष्णवे च प्रमॅशाय च नमो दूताय च प्रहिताय च नमो निषङ्गिणे चेषुधिमते च ।।४०।।
दुन्दुभि की ध्वनि में रहने वाले के लिए नमस्कार और शत्रुओं के घर्षण करने में समर्थ के लिए नमस्कार दूत और सन्देश वाहकों में रहने वाले के लिए नमस्कार तथा खड्ग और खड्ग कोष धारण करने वाले के लिए नमस्कार।🙏 (४०)
नमस्तीक्ष्णेषवे चायुधिने च नम: स्वायुधाय च सुधन्वने च नमः स्रुत्याय च पथ्याय च नम: काट्याय च नीप्याय च ।।४१।।
तीक्ष्ण बाण वाले के लिए तथा उत्तम शस्त्र वाले के लिए नमस्कार, शोभन आयुद्ध और श्रेष्ठ धनुष धारण करने वाले के लिए नमस्कार, संकरे मार्ग पर चलने वाले और राजमार्ग पर चलने वाले के लिए नमस्कार, संकीर्ण जल स्रोतों और विशाल जल स्रोतों में रहने वाले के लिए नमस्कार।🙏 (४१)
नम: सूद्याय च सरस्याय च नमो नाद्याय च वैशन्ताय च नम: कूप्याय चावट्याय च नमो वर्ष्याय चावर्ष्याय च नमो मेध्याय च विद्युत्याय च ।। ४२ ।।
दल-दल और गहरे जलाशयों में रहने वाले के लिए नमस्कार, नदियों और झीलों में रहने वालों के लिए नमस्कार, कुंए और गर्त में रहने वाले के लिए नमस्कार, वर्षा🌧️ और सूखा☀ में रहने वालों के लिए नमस्कार, मेघ☁️ और विद्युत⚡️ में रहने वाले के लिए नमस्कार।🙏 (४२)
नम ईध्रियाय चातप्याय च नमो वात्याय रेष्मियाय च नमो वास्तव्याय च वास्तुपाय च ।।४३।।
शरद ऋतु के बादल☁️ और सूर्य🌞 में रहने वाले को नमस्कार, तूफान🌪 में रहने वाले के लिए नमस्कार और भूमि तथा पशुओं 🐐🐮के संरक्षणकर्ता के लिए नमस्कार।🙏 (४३)
🌹🍁साईराम🍁🌹
🌾श्रीरुद्रम्-9🌾
🙏नमकम्🙏
अनुवाक- 7
नमो दुन्दुभ्याय चाहनन्याय च नमो धृष्णवे च प्रमॅशाय च नमो दूताय च प्रहिताय च नमो निषङ्गिणे चेषुधिमते च ।।४०।।
दुन्दुभि की ध्वनि में रहने वाले के लिए नमस्कार और शत्रुओं के घर्षण करने में समर्थ के लिए नमस्कार दूत और सन्देश वाहकों में रहने वाले के लिए नमस्कार तथा खड्ग और खड्ग कोष धारण करने वाले के लिए नमस्कार।🙏 (४०)
नमस्तीक्ष्णेषवे चायुधिने च नम: स्वायुधाय च सुधन्वने च नमः स्रुत्याय च पथ्याय च नम: काट्याय च नीप्याय च ।।४१।।
तीक्ष्ण बाण वाले के लिए तथा उत्तम शस्त्र वाले के लिए नमस्कार, शोभन आयुद्ध और श्रेष्ठ धनुष धारण करने वाले के लिए नमस्कार, संकरे मार्ग पर चलने वाले और राजमार्ग पर चलने वाले के लिए नमस्कार, संकीर्ण जल स्रोतों और विशाल जल स्रोतों में रहने वाले के लिए नमस्कार।🙏 (४१)
नम: सूद्याय च सरस्याय च नमो नाद्याय च वैशन्ताय च नम: कूप्याय चावट्याय च नमो वर्ष्याय चावर्ष्याय च नमो मेध्याय च विद्युत्याय च ।। ४२ ।।
दल-दल और गहरे जलाशयों में रहने वाले के लिए नमस्कार, नदियों और झीलों में रहने वालों के लिए नमस्कार, कुंए और गर्त में रहने वाले के लिए नमस्कार, वर्षा🌧️ और सूखा☀ में रहने वालों के लिए नमस्कार, मेघ☁️ और विद्युत⚡️ में रहने वाले के लिए नमस्कार।🙏 (४२)
नम ईध्रियाय चातप्याय च नमो वात्याय रेष्मियाय च नमो वास्तव्याय च वास्तुपाय च ।।४३।।
शरद ऋतु के बादल☁️ और सूर्य🌞 में रहने वाले को नमस्कार, तूफान🌪 में रहने वाले के लिए नमस्कार और भूमि तथा पशुओं 🐐🐮के संरक्षणकर्ता के लिए नमस्कार।🙏 (४३)
🌹🍁साईराम🍁🌹
Om namah shivaya
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