Ganapati Prarthna | गणपति प्रार्थना | हिंदी अर्थ सहित
वेदमंत्र एवम् अर्थ- १
🙏 गणपति प्रार्थना🙏
गणानां त्वा गणपतिगं हवामहे कविं कवीनामुपमश्रवस्तमम्। ज्येष्ठराजं ब्रह्मणां ब्रह्मणस्पत आ न: श्रृण्वन्नूतिभिस्सीद सादनम् ।।1।।
हम गणों के नायक गणपति का आह्वान करते हैं। वे ज्ञानियों में श्रेष्ठ और अनुपमेय हैं। हम तेजस्वी, परमश्रेष्ठ मन्त्रों के स्वामी का आह्वान करते है।आप हमारी प्रार्थना को सुनते हुए रक्षा साधनों के साथ हमारे घर में हमारी सहायता के लिए विराजें। ( १ )
प्रणो देवी सरस्वती वाजेभिर्वाजिनीवती।धीनामवित्र्यवतु।
गणेशाय नम: । सरस्वत्यै नम: श्रीगुरुभ्यो नम: । हरि: ओम्।।२।।
हम वाणी की देवी सरस्वती का, ऋचाओं के द्वारा आह्वान करते है कि माँ सरस्वती हमारी वाणी को शुद्ध उच्चारण करने के लिए सुप्रेरित करें व हममें सुबुद्धि को जगाएँ।
गणेश जी को नमस्कार🙏, सरस्वतीजी को नमस्कार🙏। गुरुदेव को नमस्कार🙏। हरिःॐ। (२)
🌷🌷🌷🌸🌷🌷🌷ड़
🙏 गणपति प्रार्थना🙏
गणानां त्वा गणपतिगं हवामहे कविं कवीनामुपमश्रवस्तमम्। ज्येष्ठराजं ब्रह्मणां ब्रह्मणस्पत आ न: श्रृण्वन्नूतिभिस्सीद सादनम् ।।1।।
हम गणों के नायक गणपति का आह्वान करते हैं। वे ज्ञानियों में श्रेष्ठ और अनुपमेय हैं। हम तेजस्वी, परमश्रेष्ठ मन्त्रों के स्वामी का आह्वान करते है।आप हमारी प्रार्थना को सुनते हुए रक्षा साधनों के साथ हमारे घर में हमारी सहायता के लिए विराजें। ( १ )
प्रणो देवी सरस्वती वाजेभिर्वाजिनीवती।धीनामवित्र्यवतु।
गणेशाय नम: । सरस्वत्यै नम: श्रीगुरुभ्यो नम: । हरि: ओम्।।२।।
हम वाणी की देवी सरस्वती का, ऋचाओं के द्वारा आह्वान करते है कि माँ सरस्वती हमारी वाणी को शुद्ध उच्चारण करने के लिए सुप्रेरित करें व हममें सुबुद्धि को जगाएँ।
गणेश जी को नमस्कार🙏, सरस्वतीजी को नमस्कार🙏। गुरुदेव को नमस्कार🙏। हरिःॐ। (२)
🌷🌷🌷🌸🌷🌷🌷ड़
Comments
Post a Comment